
लड़के का अपहरण कर किन्नर को बेचने का मामला सामने आया है। 20 दिन बाद परिजनों ने खोज निकाला। मानव तस्करी के आरोप में तीन लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है।
छतरपुर जिले में अनोखा और हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। ईशानगर थाना क्षेत्र में ईशानगर के रहने वाले एक 17 साल के लड़के को तीन लोगों ने बहला फुसलाकर किन्नरों के यहां बेचने का मामला सामने आया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, ईशानगर के रहने वाले एक नाबालिक लड़के को गांव के ही रमेश रैकवार और रामपुर गांव के धनीराम कुशवाहा बहला फुसलाकर पहले छतरपुर ले गए। उसके बाद उसे रमेश रैकवार ने अपने लड़के मगन रैकवार को साथ लेकर हरपालपुर लाली किन्नर के यहां छोड़कर आ गए। 20 दिन से लापता नाबालिग की खोजबीन परिजन अपने स्तर से कर रहे थे। इसी दौरान परिजनों को फोन लगाकर नाबालिग ने अपनी हरपालपुर में होने की बात बताई। इसके बाद परिजनों ने जाकर नाबालिग को किन्नरों के कब्जे से मुक्त कराया।
वहीं, अब 27 तारीख को पीड़ित एवं पीड़ित के पिता ने थाने पहुंचकर संबंधित आरोपियों के खिलाफ़ मामले की रिपोर्ट दर्ज कराई है। तो वहीं पुलिस ने पूरे मामले में IPC की धारा-363 के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
जांच में बड़े मानव तस्करी गिरोह का हो सकता है खुलासा
पीड़ित नाबालिग लड़के ने बताया कि उसकी तरह ही चार-पांच अन्य बच्चे किन्नर के पास मौजूद थे, जिनको वह दवाइयां और इंजेक्शन लगाया करती थी। मुझे भी कई बार दवाइयां और इंजेक्शन लगवाए गए, जिससे मेरे शरीर में अनावश्यक बदलाव भी आने लगे थे।
हालांकि, अब बड़ा सवाल है कि पुलिस ने आखिर एफआईआर में किन्नर को आरोपी क्यों नहीं बनाया और किन्नर से पूछताछ क्यों नहीं की। जबकि नाबालिग किन्नर के यहां ही मिला है। इस पूरे मामले में बड़े मानव तस्कर गिरोह का हाथ हो सकता है। नाबालिक बच्चों की तस्करी करके पैसे/भीख मंगवाने एवं उन्हें किन्नर बनकर ट्रेनों में उगाही मंगवाने का भी मामला हो सकता है।
परिजनों का आरोप
हालांकि, पुलिस ने इस पूरे मामले में मामूली धाराओं में मामला दर्ज किया है। जबकि परिजनों के आरोपों के मुताबिक, पीड़ित नाबालिग हरपालपुर में लाली किन्नर के यहां से मिला है। यह पूरा मामला मानव तस्करी से जुड़ा हुआ हो सकता है। जांच में और भी खुलासा होने की उम्मीद है।
हरपालपुर रेलवे स्टेशन के कारण किन्नरों का बना है अड्डा
हरपालपुर में रेलवे स्टेशन होने के कारण यहां पर किन्नरों का एक झुंड हमेशा बना रहता है। यह किन्नर ट्रेन में सवार होकर यात्रियों से वसूली करते हैं। सूत्रों के मुताबिक, इस पूरे मामले में और भी कई किरदार हो सकते हैं। हालांकि पुलिस ने अभी कोई खास कार्रवाई नहीं की है। जबकि पीड़ित के चाचा मान सिंह का आरोप है कि इस पूरे मामले में पुलिस सही से काम नहीं कर रही है और न ही आरोपियों से पूछताछ कर रही है।
संबंधित आरोपियों के द्वारा पूर्व में भी अन्य नाबालिग बच्चों को बेचने और तस्करी के कई मामले सामने आ सकते हैं। हालांकि, इस पूरे मामले की निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए उन्होंने कहा कि संबंधित किन्नर को भी इस पूरे मामले में आरोपी बनाया जाए।