
हज सफर से लौटे लोग अभी मुलाकात, दावत, तबर्रुक (प्रसाद) बांटने में ही मसरूफ हैं। जुलाई महीने में वापस आए हाजियों का सफर अभी तरोताजा ही है। ऐसे में अगले बरस के लिए हज अर्जियां शुरू कर दी गई हैं। अगले साल मई या जून माह में होने वाले हज के लिए 9 महीने पहले आवेदन बुलाने का मामला संभवतः पहली ही बार हो रहा है।
हज कमेटी ऑफ इंडिया ने मंगलवार रात से हज 2025 के ऑनलाइन हज आवेदन प्रक्रिया शुरू कर दी है। हज आवेदकों से आवेदन तिथि शुरू होने से पहले बने पासपोर्ट की अनिवार्यता रखते हुए इसकी वैधता 15 जनवरी 2026 तक होना जरूरी करार दिया है।
सीमित समय में करें आवेदन
13 अगस्त रात 11.59 बजे से शुरू होने वाली आवेदन प्रक्रिया 9 सितंबर तक ही जारी रहेगी। इसके बाद आवेदन की तारीख आगे बढ़ाई जाएगी या नहीं, फिलहाल यह भी तय नहीं है। जबकि अब तक होने वाली आवेदन प्रक्रिया में समय भी अधिक दिया जाता रहा है। साथ ही जरूरत के लिहाज से इसको कुछ समय आगे बढ़ाने का प्रावधान भी किया जाता रहा है।
बदले नियमों का भी रहेगा असर
हज पॉलिसी 2025 के लिए अल्पसंख्यक कल्याण विभाग ने कई बदलाव किए हैं, जिनका असर इस बार हज सफर पर पड़ने वाला है। नए नियमों के मुताबिक अब हज यात्रा पर अधिकतम 65 वर्ष आयु के यात्री ही जा पाएंगे। बिना मेहरम के अकेले हज सफर पर जाने वाली महिलाओं के लिए आयु सीमा भी 45 से 60 वर्ष तक सीमित कर दी गई है।
कम कोटा करेगा प्रभावित
सेंट्रल हज कमेटी ऑफ इंडिया ने हज कमेटी के मार्फत हज पर जाने वाले हाजियों का कोटा 10 प्रतिशत कम कर दिया है। जबकि प्राइवेट टूर ऑपरेटर्स के कोटे में 10 प्रतिशत का इजाफा कर दिया है। इसके चलते देश को मिलने वाले कुल कोटे से महज 70 प्रतिशत हजयात्री हज कमेटी के मार्फत हज जाएंगे। जबकि बाकी 30 प्रतिशत हाजियों को टूर ऑपरेटर्स को महंगा खर्च अदा करने की मजबूरी रहेगी।
उतरी नहीं इनकी थकान
जून माह में हुए 2024 की हज यात्रा की तैयारी के लिए प्रदेश हज कमेटी के कर्मचारी पिछले कई महीनों से जुटे हुए थे। आवेदन प्रक्रिया शुरू होने से लेकर हाजियों की रुखसत और उनकी वापसी की तैयारियों में यह लगे रहे हैं। पिछले महीने हाजियों के सभी जत्थे वापस आने के बाद ही यह सुकून में आए थे। इसके तत्काल बाद शुरू हुए हज आवेदन प्रक्रिया ने हज कमेटी के दर्जनों कर्मचारियों के माथे पर शिकन पैदा कर दी है। इधर यह कर्मचारी एक विभागीय घटनाक्रम के बीच कमेटी के सभी कर्मचारियों की वेतन कटौती ने इन्हें आधी जैसी तनख्वाह पर लाकर खड़ा कर दिया है। आधी तनख्वाह में दोगुने काम ने इनको चिंता में डाल दिया है।