
शारदीय नवरात्रि की गुरुवार को शुरुआत हो गई है। बीना और खुरई शहर सहित ग्रामीण क्षेत्रों में देवी प्रतिमाओं की स्थापना गुरुवार की शाम से शुरू हुई। अखाड़ों, ढोल-नगाड़ों के साथ भक्तों ने माता रानी की भव्य अगवानी की। मूर्ति कलाकार भी देर रात तक देवी प्रतिमाओं को अंतिम रूप देने में जोर-शोर से जुटे रहे और देवी प्रतिमाओं के स्थापना का दौर भी देर रात तक चलता रहा।
गाजे-बाजे के साथ पंडाल में पहुंची प्रतिमाएं
गुरुवार की रात को बीना और खुरई में मूर्तिकार प्रतिमाओं को अंतिम रूप देने में जुटे रहे। वहीं देर रात तक ग्रामीण क्षेत्रों से आए बड़ी संख्या में लोग ट्रैक्टर-ट्रॉली में माता को लेकर पंडाल तक गाजे-बाजे और डीजे के साथ भजनों पर थिरकते हुए अपने-अपने नियत स्थान पर पहुंचे। जहां देर रात तक विधि विधान के साथ प्रतिमाओं की स्थापना की गई। इस दौरान लोग मां के जयकारों और मां के भजनों पर जमकर थिरकते हुए नजर आए।
बीना में 68 तो खुरई में 53 स्थानों पर विराजी मां दुर्गा
नवरात्र पर्व के चलते देर रात तक मां दुर्गा की प्रतिमाओं की स्थापना का सिलसिला चलता रहा। बीना शहर में करीब 68 स्थानों पर माता रानी की स्थापना की गई है। वहीं खुरई शहर में भी करीब 53 स्थानों पर मां दुर्गा की स्थापना की गई है। देर रात तक समिति के सदस्यों की ओर से पंडालों को सजाया जाता रहा
